
Yamuna Expressway Accident
Yamuna Expressway Accident: बटेश्वर भंडारे में जा रहे परिवार की कार दुर्घटना में 6 की मौत, दो गंभीर घायल
मथुरा | 19 जुलाई 2025
उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले में शुक्रवार रात यमुना एक्सप्रेसवे पर दर्दनाक सड़क हादसा हुआ। गांव सराय सलवाहन के पास एक तेज रफ्तार ईको कार, चालक को नींद की झपकी लगने के कारण, आगे चल रहे वाहन में जा घुसी। इस भीषण हादसे में एक ही परिवार के छह लोगों की मौत हो गई, जबकि मां और बेटी गंभीर रूप से घायल हो गईं। यह परिवार बटेश्वर मेले में अखंड रामायण और भंडारा कराने के लिए दिल्ली से रवाना हुआ था।
मृतकों में शामिल थे:
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धर्मवीर सिंह (55) – पिता, दिल्ली में हलवाई का काम करते थे
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रोहित (20) – बेटा, दुकान संभालता था, होटल मैनेजमेंट कोर्स कर चुका था
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आर्यन (16) – छोटा बेटा
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पारस उर्फ पार्थ (22) – भांजा
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दलवीर (26) – दूसरा भांजा
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दुष्यंत (22) – पारिवारिक मित्र, अमेठी निवासी
धर्मवीर सिंह पिछले 15 वर्षों से दिल्ली के समयपुर बादली में मिठाई और कैटरिंग का व्यवसाय कर रहे थे। उनकी पत्नी सोनी और बेटी पायल इस हादसे में गंभीर रूप से घायल हुईं, जिन्हें इलाज के लिए आगरा के कृष्णा हॉस्पिटल रेफर किया गया है।
हादसे की वजह बनी नींद की झपकी
हादसा शुक्रवार रात लगभग 3:30 बजे हुआ जब चालक रोहित को गाड़ी चलाते समय झपकी आ गई। हादसे के वक्त कार बलदेव थाना क्षेत्र के माइल स्टोन 140 पर थी। टक्कर इतनी भयंकर थी कि कार के परखच्चे उड़ गए और शवों को निकालने के लिए पुलिस को गैस कटर का सहारा लेना पड़ा।
भंडारे की तैयारी थी, खुशियां मातम में बदलीं
परिवार रविवार को अखंड रामायण का पाठ और सोमवार को भंडारा कराने जा रहा था। धर्मवीर हर साल सावन के दूसरे सोमवार को बटेश्वर मेले में भंडारा करवाते थे। इस बार भी वही आयोजन था, लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था।
धर्मवीर के भाई राकेश सिंह ने बताया कि रोहित की शादी इसी साल 30 नवंबर को तय थी। सगाई हो चुकी थी और परिवार ने गहनों का ऑर्डर भी दे दिया था। अब पूरा परिवार उजड़ गया है, केवल पत्नी और बेटी शेष हैं।
पोस्टमार्टम हाउस में मचा कोहराम
जब मृतक विश्वनाथ को अपने दोनों बेटों दलवीर और पार्थ की मौत की खबर मिली, तो वह पहले तो विश्वास ही नहीं कर पाए। लेकिन पोस्टमार्टम हाउस में बेटों का शव देख वे बेसुध हो गए। परिवार और गांव में गहरा शोक व्याप्त है।
प्रशासन और मुख्यमंत्री का रुख
हादसे की सूचना मिलते ही जिलाधिकारी चंद्रप्रकाश सिंह और एसएसपी श्लोक कुमार मौके पर पहुंचे और घायलों को बेहतर इलाज उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी घटना पर शोक व्यक्त किया और घायलों को समुचित उपचार दिलाने के आदेश दिए।
निष्कर्ष
मथुरा का यह हादसा न सिर्फ एक परिवार की त्रासदी है, बल्कि यह नींद की झपकी के खतरों और लंबी दूरी वाहन संचालन में सावधानी की अहमियत को उजागर करता है। समाज और प्रशासन के लिए यह एक चेतावनी है कि ड्राइविंग के दौरान सतर्कता में जरा सी चूक, कितनी बड़ी कीमत वसूल सकती है।
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