
naxal surrender in sukma Photo-amarujala
naxal surrender in sukma: 1.18 करोड़ के इनामी 23 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण, 9 महिला माओवादी शामिल
सुकमा। छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले से नक्सलवाद के खिलाफ एक बड़ी सफलता की खबर सामने आई है। लंबे समय से पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा अपनाई गई रणनीतियों का असर अब ज़मीन पर दिखने लगा है। इसी कड़ी में एक बड़ा मोड़ तब आया जब 1 करोड़ 18 लाख रुपये के इनामी कुल 23 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया। आत्मसमर्पण करने वालों में 9 महिला और 14 पुरुष नक्सली शामिल हैं, जिनमें 8 हार्डकोर इनामी माओवादी भी हैं।
विशेष बात यह है कि आत्मसमर्पण करने वाले कुछ नक्सली, वर्ष 2012 में तत्कालीन कलेक्टर एलेक्सपाल मेनन के अपहरण जैसे संगीन मामलों में भी शामिल रहे हैं। ये सभी माओवादी डीकेएसजेडसी, पीएलजीए और मिलिशिया जैसे संगठनों से सक्रिय रूप से जुड़े रहे हैं।
सरेंडर करने वालों ने सरकार की पुनर्वास नीति और ‘नियाद नैलानार योजना’ से प्रेरित होकर आत्मसमर्पण का रास्ता चुना। इस अभियान में जिला पुलिस बल, सीआरपीएफ, एसटीएफ और कोबरा बटालियन की बड़ी भूमिका रही है। यह कदम क्षेत्र में शांति स्थापना और विकास की दिशा में मील का पत्थर माना जा रहा है।
अब तक 427 नक्सली मारे गए, 1,428 ने किया आत्मसमर्पण
राज्य में बीजेपी सरकार बनने के बाद नक्सलवाद के खिलाफ सख्त कदम उठाए गए हैं। सीएम विष्णुदेव साय ने बताया कि अब तक 205 मुठभेड़ों में 427 नक्सली मारे जा चुके हैं, जिनमें करोड़ों के इनामी माओवादी जैसे बसवराजू, सुधाकर और भास्कर शामिल हैं।
इसके अलावा पिछले डेढ़ साल में 1,428 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है, जो राज्य सरकार की नीतियों की सफलता को दर्शाता है।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने हाल ही में ट्वीट कर इन अभियानों की सराहना की और नक्सल विरोधी ऑपरेशनों में शामिल जवानों और अधिकारियों से जल्द मुलाकात की बात भी कही। उन्होंने लिखा कि मोदी सरकार भारत को नक्सलवाद के चंगुल से मुक्त करने के लिए पूर्ण रूप से प्रतिबद्ध है।
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