
चारधाम यात्रा 2025: बद्रीनाथ धाम के कपाट खुले, हेलिकॉप्टर से हुई पुष्पवर्षा
चारधाम यात्रा का शुभारंभ बुधवार, 30 अप्रैल से हो चुका है और यह यात्रा आगामी 6 नवंबर तक चलेगी। रविवार, 4 मई को यात्रा के पांचवें दिन बद्रीनाथ धाम के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए गए। इससे पहले गंगोत्री, यमुनोत्री और केदारनाथ के कपाट खोले जा चुके थे। कपाट खुलते ही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ दर्शन के लिए उमड़ पड़ी। महिलाओं ने पारंपरिक लोकगीत गाए, वहीं गढ़वाल राइफल्स के बैंड ने सांस्कृतिक धुनें बजाईं। इस अवसर पर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंदिर पहुंचकर भगवान बद्रीविशाल के दर्शन किए। अब श्रद्धालु छह माह तक भगवान के दर्शन कर सकेंगे।
40 क्विंटल फूलों से सजा मंदिर, हेलिकॉप्टर से पुष्पवर्षा
कपाट खुलने से पहले मंदिर परिसर में वैदिक मंत्रोच्चार के साथ विशेष पूजा हुई। सुबह 6 बजे कपाट खुलने के बाद श्रद्धालुओं पर हेलिकॉप्टर से पुष्पवर्षा की गई। इस दौरान मंदिर को 40 क्विंटल फूलों से सजाया गया था। गढ़वाल राइफल्स के बैंड ने पारंपरिक धुनों के साथ वातावरण को भक्तिमय कर दिया। महिलाओं ने लोक गीत गाकर भगवान बद्रीविशाल का स्वागत किया।
मुख्यमंत्री ने श्रद्धालुओं का किया स्वागत
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि देशभर से हजारों श्रद्धालु बद्रीनाथ पहुंचे हैं। उन्होंने सभी श्रद्धालुओं की सुरक्षित यात्रा की कामना करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में चारधाम को जोड़ने वाली ऑल वेदर रोड तैयार की गई है। बद्रीनाथ मास्टर प्लान और केदारनाथ पुनर्निर्माण परियोजनाओं पर काम जारी है। साथ ही केदारनाथ और हेमकुंड साहिब के लिए रोपवे की स्वीकृति भी दी गई है।
धाम की सुरक्षा में 500 जवान तैनात
कपाट खुलने के साथ ही मंदिर परिसर को सुरक्षा घेरे में ले लिया गया है। गढ़वाल राइफल्स, एसडीआरएफ, पीएसी और एलआईयू के 500 जवानों को सुरक्षा के लिए तैनात किया गया है। जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने भी इस शुभ अवसर पर कहा कि भक्तों को यहां आकर आध्यात्मिक सुख की अनुभूति होती है।
चारधाम कपाट खुलने की तिथियां:
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गंगोत्री धाम: 30 अप्रैल, सुबह 10:30 बजे
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यमुनोत्री धाम: 30 अप्रैल, सुबह 11:55 बजे
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केदारनाथ धाम: 2 मई
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बद्रीनाथ धाम: 4 मई
गंगोत्री के कपाट 22 अक्टूबर तक, यमुनोत्री और केदारनाथ के कपाट 23 अक्टूबर तक और बद्रीनाथ के कपाट 6 नवंबर 2025 तक खुले रहेंगे।
यात्रा के लिए जरूरी दिशा-निर्देश:
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पर्वतीय क्षेत्रों में रात्रि 10 बजे से सुबह 4 बजे तक व्यावसायिक वाहनों की आवाजाही पर रोक रहेगी।
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चालकों के पास फिटनेस सर्टिफिकेट, प्रशिक्षण प्रमाणपत्र और सभी वैध दस्तावेज होना अनिवार्य है।
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ड्राइवर को बंद जूते या ट्रैकिंग शूज पहनने होंगे; नशा और अभद्रता पर सख्त रोक है।
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नियमों के उल्लंघन पर वाहन मालिक और चालक के खिलाफ कार्रवाई होगी।
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यात्रियों से पंजीकरण करवाने और मौसम की जानकारी लेते रहने की अपील की गई है।
एआरटीओ चक्रपाणि मिश्रा के अनुसार, सड़कों की मरम्मत, स्वास्थ्य और ठहरने की व्यवस्थाओं पर कार्य तेज़ी से जारी है।